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कलेक्टर ने कहा…..बैंक अधिकारियों से जताई नाराजगी…क्यों नहीं हुआ टारगेट पूरा…..इस मामले में जांचकर मांगा रिपोर्ट
बैठक में बोले कलेक्टर...इस तरह नहीं चलेगा काम...दिया जांच का आदेश

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बिलासपुर—कलेक्टर अवनीश शरण की अध्यक्षता में बैंको की जिला स्तरीय परामर्शदात्री समिति की त्रैमासिक बैठक हुई। बैठक का आयोजन जिला कार्यालय स्तित मंथन सभागार में किया गया। कलेक्टर ने एक साल बाद भी बैंक शाखा नहीं खोले जाने पर बैंक प्रबंधन पर नाराजगी जाहिर किया। उन्होने कहा कि पिछले साल बैठक में जिले के दूरस्थ इलाकों में 13 बैंक शाखाएं खोले जाने का निर्णय लिया गया था। बावजूद इसके सिर्फ तीन बैंक दगोरी, सेन्दरी और भरनी में खोला। बाकी गांव में किसी प्रकार का कदम नहीं उठाया गया है। कलेक्टर ने बैंकों के खिलाफ शासन स्तर पर संस्थागत वित्त विभाग को पत्र लिखने का आदेश दिया। आरबीआई की गाईड लाईन के अनुरूप समाज के कमजोर तबकों -एससी और एसटी,किसानों को निर्धारित मानक से कम लोन देने पर एतराज जताया। बैठक में जिला पंचायत सीईओ, आरबीआई और नाबार्ड प्रतिनिधि समेत सभी बैंको के प्रबंधक, लाईन डिपार्टमेन्ट के जिला स्तरीय अधिकारी उपस्थित थे।
कलेक्टर ने प्राथमिकता क्षेत्र के अंतर्गत डेयरी एवं मछलीपालन के लिए लोन आवंटित करने में उपेक्षा किये जाने पर नाराजगी जाहिर किया है। उन्होने कहा कि राज्य की डेयरी महासंघ का एनडीडीबी के साथ एमओयू हुआ है। दुग्ध उत्पादन बढ़ाने के ज्यादा लक्ष्य मिले हैं। डेयरी पालन के इच्छुक किसानों को ज्यादा लोन मिलेगा तभी टास्क संभव होगा। सभी बैंक इस दिशा में प्रयास करें। कैनरा बैंक की सीपत शाखा ने महिला समूहों को परेशान करने वाले मामले में कलेक्टर ने कहा कि छोटी-छोटी बातों को लेकर सहयोग करने के बजाय हितग्राहियों से दुर्व्यवहार ठीक नहीं है।
कलेक्टर ने एलडीएम को जांच कर रिपोर्ट पेश करने को कहा। आरसेटी से प्रशिक्षण प्राप्त युवाओं को बैंक ऋण देने के निर्देश दिए। बताया कि बैंक प्रबंधन ध्यान नहीं दे रहे हैं। लगभग 1100 प्रशिक्षण प्राप्त युवाओं में अब तक मात्र 3 को ऋण मुहैया कराया गया है। बैठक में कलेक्टर ने बैंक प्रबंधन और अधिकारियों की जरूरतमंद लोगों को ऋण देने और योजनाओं के अमल में लाने में आ रही दिक्कतों की जानकारी ली और उनका समाधान भी किया।