CG News- कार्यस्थल पर ‘‘आन्तरिक शिकायत समिति’’ का गठन व पुनर्गठन हेतु निर्देश जारी
अधिनियम में उल्लेखित प्रावधानों व प्रक्रियाओ को ध्यान में रखकर समिति का गठन तथा यदि पूर्व में गठित हो और पुनर्गठन की आवश्यकता हो तो पुनर्गठित करते हुए प्रत्येक कार्यालय के सूचना पटल पर आंतरिक शिकायत समिति के सूची को प्रदर्शित कर उसका फोटो अनिवार्य रूप से जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला एवं बाल विकास विभाग जशपुर उपलब्ध करना होगा।

CG News-जशपुरनगर/ केन्द्र शासन द्वारा ‘‘कार्यस्थल पर महिलाओं का यौन उत्पीड़न (रोकथाम, प्रतिषेध एवं निवारण अधिनियम 2013)‘‘ अधिनियम पारित किया गया है। यह अधिनियम 09 दिसम्बर 2013 से प्रभावशील है। अधिनियम के अनुसार पीड़ित महिला, नियोजक, कार्यस्थल एवं यौन उत्पीड़न को परिभाषित किया गया है।
इस अधिनियम के अन्तर्गत बिन्दुवार कार्यस्थल पर प्रत्येक कार्यालय प्रमुख, नियोजक लिखित में आदेश द्वारा आंतरिक शिकायत समिति के रूप में ज्ञात समिति गठित करेगा। यदि कार्यस्थल के कार्यालय अथवा प्रशासनिक इकाइयां विभिन्न स्थानों या खंडीय अथवा उपखण्डीय स्थल पर स्थित होने पर, वहां आन्तरिक शिकायत समिति सभी प्रशासनिक इकाईयों अथवा कार्यालयों पर गठित की जायेगी।
आंतरिक शिकायत समिति नियोजक, कार्यालय प्रमुख द्वारा नाम निर्देशित किए जाने वाले सदस्यों से मिलकर बनेगी। जिसमें एक पीठासीन अधिकारी, कार्यस्थल पर नियुक्त की गई कर्मचारियों में से वरिष्ठ स्तर की नियोजित महिला होगी। वरिष्ठ स्तर की महिला कर्मचारी उपलब्ध न होने पर पीठासीन अधिकारी कार्यस्थल के अन्य कार्यालयों अथवा प्रशासनिक इकाईयों से नाम निर्देशित की जायेगी।
अन्य कार्यस्थल के अन्य कार्यालयों अथवा प्रशासनिक इकाईयों पर वरिष्ठ स्तर की महिला कर्मचारी न होने पर उसी नियोजक, कार्यालय प्रमुख अथवा अन्य विभाग अथवा संगठन के किसी अन्य कार्यस्थल से पीठासीन अधिकारी नाम निर्देशित किया जायेगा। कर्मचारियों में से दो से अन्यून ऐसे सदस्य जो महिलाओं के समस्याओं के प्रति अधिमानी रूप से प्रतिबद्ध है, या जिनके पास समाज सुधार के कार्य में अनुभव है या विधिक ज्ञान है।
गैर सरकारी संगठनों या संगमों से ऐसा एक सदस्य जो महिलाओं की समस्याओं के प्रतिबद्ध है, या कोई व्यक्ति जो लैंगिक उत्पीड़न से संबंधित विवाद्यकों से सुपरिचित हो। समिति में कुल सदस्यों में से कम से कम आधी महिलाएं होंगी। कार्यालय में यदि दस से कम कर्मचारी हैं। वहां पर आन्तरिक शिकायत समिति गठित नहीं की जायेगी।
शिकायत समितियों का पुनर्गठन किया जाना होगा तथा स्वैच्छिक संगठन से एक सदस्य को अनिवार्य रूप से नामांकित किया जाना होगा। समिति का कार्यकाल तीन वर्ष निर्धारित रहेगा। यह समिति सभी शासकीय, अर्द्धशासकीय, अशासकीय, वाणिज्यिक कार्यालय एवं उद्योगों व सभी चिन्हांकित कार्यस्थलों में गठित किया जाना अनिवार्य होगा।
सभी विभाग अपने नियंत्रण में आने वाले कार्यालयों, संस्थाओं, वाणिज्यिक निकायों, उद्योगों को सूचित करते हुए आंतरिक शिकायत समिति गठन सुनिश्चित करेंगे। जहां महिला कर्मचारी न हो अथवा 1-2 की संस्था में महिला कर्मचारी हो, वहां समिति गठन के संबंध में प्रशासकीय विभाग, नियोजक समुचित निर्णय करते हुए आंतरिक शिकायत समिति की उपयुक्त व्यवस्था करेंगे। अधिनियम में आंतरिक शिकायत समिति को सुनवाई व आदेश हेतु अधिकार प्रत्योजित किये गये हैं। अधिनियम में समिति द्वारा अपनाई जाने वाली प्रक्रिया का विवरण अधिनियम में उल्लेखित है।
अधिनियम में उल्लेखित प्रावधानों व प्रक्रियाओ को ध्यान में रखकर समिति का गठन तथा यदि पूर्व में गठित हो और पुनर्गठन की आवश्यकता हो तो पुनर्गठित करते हुए प्रत्येक कार्यालय के सूचना पटल पर आंतरिक शिकायत समिति के सूची को प्रदर्शित कर उसका फोटो अनिवार्य रूप से जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला एवं बाल विकास विभाग जशपुर उपलब्ध करना होगा।