BilaspurChhattisgarh

छात्र को बंधक बनाकर मारपीट…शिक्षक के खौफ में दर्ज नहीं हुआ एफआईआर..पिता ने खटखटाया मुख्यमंत्री का दरवाजा

नाबालिग छात्र को शिक्षक ने बंधक बनाकर पीटा..जनता में आक्रोश

बलरामपुर/रामानुजगंज (पृथ्वीलाल केशरी)– जिले में शिक्षा विभाग का लगातार कई काले कारनामे रह रह कर उजागर हो रहे हैं। ताजा मामला छात्र को बंधक बनाकर मारपीट का मामला सामने आया है। घायल बेटा का पिता अब न्याय पाने के लिए दर भटकने को मजबूर है। अब कहीं से न्याय नहीं मिलने देख पीड़ित बुजुर्ग पिता ने दबंग शिक्षक के खिलाफ मुख्यमंत्री का दरवाजा खटखटाया है। दरअसल मामला बलरामपुर जिले के रामचंद्रपुर विकासखण्ड अंतर्गत माध्यमिक शाला मेघुलि का है। शिक्षक ने नाबालिग बच्चे को बंधक बनाकर इतना पीटा कि आज उसकी हालत गंभीर है। बंधक बनाकर पीटने का मामला धीरे धीरे तूल पकड़ता जा रहा है। 
बंधक बनाकर नाबालिग छात्र से मारपीट का मामला धीरे धीरे तूल पकड़ता जा रहा है। घटना जिले के माध्यमिक शाला मेघुलि का है। स्कूल शिक्षक विद्यासागर ने एक छात्र को बंधक बनाकर इतना पीटा कि आज उसकी हालत बहुत ही नाजुक है। बच्चे को जान के लाले पड़ गये है। घटना के तीन सप्ताह होने के बाद भी घायल छात्र को अधिकारियों से अब तक सिर्फ आश्वासन ही मिला है।
अब तक दर्ज नहीं हुआ अपराध
मोहम्मद अंसारी ने बताया कि तीन सप्ताह पहले शिक्षक विद्यासागर ने बच्चे को बंधक बनाकर मारपीट किया । जिसके चलते बच्चा गंभीर रूप से घायल हो गया। ईलाज पानी कराया…बावजूद इसके बच्चा आज भी डरा सहमा और बीमार है। मामले की शिकायत विकासखंड शिक्षा अधिकारी सदानंद कुशवाहा से किया।  लेकिन अधिकारियों ने ध्यान नहीं दिया। जिला शिक्षा अधिकारी डॉ.डी.एन.मिश्रा ने शिकायत को अनसुना कर दिया। मामले को कलेक्टर और  पुलिस कप्तान के संज्ञान  में लाया। बावजूद इसके  शिक्षक विद्यासागर यादव के खिलाफ अब तक अपराध दर्ज नहीं किया गया है।
 
शिक्षक का अधिकारियों पर खौफ
             मामले को लेकर मेधुलि के लोगों में भी आक्रोश है। स्थानीय लोगों ने कहा कि मोहम्मद अंसारी के बेटे के साथ बहुत गलत हुआ है। बावजूद इसके पीड़ित पिता की फरियाद को जिला प्रशासन ने गंभीरता से नहीं लिया है। मोहम्मद अँसारी ने बताया कि  मुख्यमंत्री का दरवाजा खटखटाया है। उम्मीद है कि न्याय मिल जाए। जरूरत पड़ी तो अनशन भी करूंगा। घटना को लेकर नाम नहीं छापने की शर्त पर कुछ वरिष्ठ शिक्षकों ने जानकारी दिया कि मामला प्रिंसिपल स्तर का था। लेकिन बात अब बढ़ गयी है। विद्यासागर के खिलाफ कई शिकायतें है। लेकिन आरोपी का इतना खौफ है कि बीईओ और डीईओ कुछ भी करने या बोलने से डरते हैं।

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