छात्रावास के रिक्त सीटों में शाला त्यागी बच्चों का चिन्हांकन कर प्रवेश दिलाने का करें प्रयास

रायगढ़/ कलेक्टर मयंक चतुर्वेदी की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट के सृजन सभा कक्ष में आदिवासी विकास विभाग अंतर्गत संचालित छात्रावासों एवं आश्रमों के अधीक्षकों की जिला स्तरीय समीक्षा बैठक आयोजित हुई। इस दौरान अपर कलेक्टर श्री अपूर्व प्रियेश टोप्पो उपस्थित रहे।
कलेक्टर श्री चतुर्वेदी ने जिले में संचालित छात्रावासों एवं आश्रमों के साथ ही प्रवेश संबंधी जानकारी लीं। सहायक आयुक्त आदिवासी विकास श्रीकांत दुबे ने बताया कि जिले में 147 छात्रावास एवं आश्रम संचालित है। जिसमें से 05 अनुदान प्राप्त है। जिसमें प्रवेश प्रक्रिया प्रारंभ है, वही वर्तमान में कुछ संस्थाओं में सीटें शेष भी है। जिस पर कलेक्टर श्री चतुर्वेदी ने कहा कि छात्रावासों में स्वीकृत सीटों पर ही प्रवेश लिया जाए। साथ जिन छात्रावास में रिक्त सीटें है, वहां शाला त्यागी बच्चों की प्रवेश दिलाने का प्रयास किया जाए। कलेक्टर श्री चतुर्वेदी ने कहा कि छात्रावास अधीक्षक विद्यार्थियों के अभिभावक के रूप में होते है। इसलिए उनके व्यावहारिक बदलाव पर भी विशेष ध्यान रखें। आप सभी का कार्य जिम्मेदारीपूर्ण है अत: छात्रावास अधीक्षकों की शत-प्रतिशत उपस्थिति होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि बच्चों के साथ किसी भी प्रकार के अस्वीकार्य व्यवहार बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उन्होंने बच्चों के सर्वांगीण विकास सुनिश्चित करने हेतु स्कूल के पश्चात शेष समय मेें बच्चों के रुचि के साथ ही खेलकूद, पेंटिंग, लेखन, सांस्कृतिक, योगाभ्यास जैसे अन्य रचनात्मक गतिविधियां संचालित करने के निर्देश दिए।
कलेक्टर श्री चतुर्वेदी ने छात्रावासों की मूलभूत सुविधाओं की जानकारी ली। संबंधित अधिकारी ने बताया कि छात्रावासों को स्कूल खोलने से पूर्व साफ-सफाई के साथ ही सभी व्यवस्थाएं सुनिश्चित की गई है। इस दौरान उन्होंने छात्रावास भवन निर्माण, अधीक्षकों की जानकारी, अतिरिक्त प्रभार, विशेष कोचिंग, निगरानी समिति की बैठक, कन्या छात्रावासों में सुरक्षा की भी समीक्षा की। विभागीय अधिकारी ने बताया कि जिले में छात्रावास हेतु 14 भवन निर्माण स्वीकृत है, जिसमें से अधिकांश निर्माणाधीन है। उन्होंने बताया कि 141 संस्थानों हेतु 80 विभागीय एवं 46 शिक्षा विभाग से सलंग्न अधीक्षक है, जिसमें से लगभग 14 अधीक्षक को अतिरिक्त प्रभार दिया गया। उन्होंने शिष्यवृति वितरण के संबंध में जानकारी ली। विभाग द्वारा जानकारी दी गई कि से शिष्यवृति वितरण का शत-प्रतिशत वितरण किया जा चुका है।
कलेक्टर श्री चतुर्वेदी के विशेष कोचिंग के संबंध के समीक्षा किए जाने पर सहायक आयुक्त आदिवासी विकास ने जानकारी दी कि कक्षा 10 एवं 12 वीं के बच्चों के लिए विशेष कोचिंग की व्यवस्था की गई थी। जिसका बेहतर परिणाम प्राप्त हुए है। कक्षा 10 वीं का 84.49 प्रतिशत रहा वही 12 वीं का 99.07 प्रतिशत रहा। उन्होंने कन्या संस्थाओं में सुरक्षा के संबंध में जानकारी देते हुए बताया कि होमगार्ड एवं चौकीदार के माध्यम से सुरक्षा व्यवस्था की गई है। इसी प्रकार कक्षा नवमी से बारहवीं के छात्रों के लिए जिसका स्कूल समय 11 से 4 बजे तक होता है उनके लिए टिफिन व्यवस्था करने की बात कही ताकि बच्चों को पौष्टिक आहार मिल सके। इस दौरान उन्होंने बताया कि छात्रावास में लोवर, टी शर्ट एवं ठंड से बचाव हेतु स्वेटर सहित अन्य सामग्री वितरित की जाती है। उन्होंने स्वास्थ्य परीक्षण के संबंध में बताया कि कुल 61 संस्थाओं में 783 विजिट कर स्वास्थ्य परीक्षण किया गया है। कलेक्टर श्री चतुर्वेदी ने किचन गार्डन की जानकारी ली। जिस पर बताया गया कि कही जमीन एवं कही बाउण्ड्रीवाल नहीं होने के कारण कुछ स्थानों में किचन गार्डन नहीं है। जिस पर कलेक्टर श्री चतुर्वेदी ने कहा कि बाउण्ड्रीवाल हेतु स्थानीय स्तर पर वैकल्पिक व्यवस्था की जाए।
मॉर्डन छात्रावास हेतु दिए जाएंगे आवश्यक संसाधन
सहायक आयुक्त आदिवासी विकास श्री श्रीकांत दुबे ने बताया कि हर ब्लॉक में मॉर्डन छात्रावास बनाने की योजना है। जिस पर कलेक्टर चतुर्वेदी ने कहा कि बच्चों के लिए बेहतर लाइब्रेरी, कंप्यूटर, इन्टरनेट, भोजन बैठक व्यवस्था एवं स्पोट्र्स सामग्री जैसी सभी संसाधन दिए जाएंगे, ताकि बच्चों को बेहतर शैक्षणिक माहौल मिलने के साथ ही सुविधाओं का लाभ मिल सके।
नियमित अंतराल में हो निगरानी समिति की बैठक
कलेक्टर श्री चतुर्वेदी ने छात्रावासों के निगरानी समिति की बैठक नियमित अंतराल में सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि छात्रावास की मूलभूत सुविधाओं एवं समस्याओं के समाधान हेतु यह बैठक अतिआवश्यक है। उन्होंने इस दौरान पालक सम्मेलन आयोजित कराने के भी निर्देश दिए।